वन्य जीवन एवं पर्यावरण

International Journal of Environment & Agriculture ISSN 2395 5791

Breaking

बीती सदी में बापू ने कहा था

"किसी राष्ट्र की महानता और नैतिक प्रगति को इस बात से मापा जाता है कि वह अपने यहां जानवरों से किस तरह का सलूक करता है"- मोहनदास करमचन्द गाँधी

ये जंगल तो हमारे मायका हैं

Showing posts with label politics. Show all posts
Showing posts with label politics. Show all posts

May 7, 2013

पर्यावरण की नज़र से एक दु:स्वप्न है गुजरात ! मोदी वालों !

May 07, 2013 0
     शेर का सवाल और गुजराती अस्मिता - गीर के शेरों का विवाद यह बताता है, कि देश में पर्यावरण जैसे मुद्दे पर भी भावनाओं को भड़काने की...
Read more »

Feb 27, 2012

क्या वाकई हम अपने मुस्तकबिल को जानते है?

February 27, 2012 1
भारतीय राजनीति में पर्यावरण और वन्य जीव कभी मुद्दा नही बनते ! क्यो? उत्तर प्रदेश की सियासी जंग में तमाम राष्ट्रीय और क्षेत्रीय पार्टि...
Read more »

जर्मनी द्वारा अंतर्राष्ट्रीय पुरस्कार "द बॉब्स" से सम्मानित पत्रिका "दुधवा लाइव"

हस्तियां

पदम भूषण बिली अर्जन सिंह
दुधवा लाइव डेस्क* नव-वर्ष के पहले दिन बाघ संरक्षण में अग्रणी भूमिका निभाने वाले महा-पुरूष पदमभूषण बिली अर्जन सिंह

एक ब्राजीलियन महिला की यादों में टाइगरमैन बिली अर्जन सिंह
टाइगरमैन पदमभूषण स्व० बिली अर्जन सिंह और मैरी मुलर की बातचीत पर आधारित इंटरव्यू:

मुद्दा

क्या खत्म हो जायेगा भारतीय बाघ
कृष्ण कुमार मिश्र* धरती पर बाघों के उत्थान व पतन की करूण कथा:

दुधवा में गैडों का जीवन नहीं रहा सुरक्षित
देवेन्द्र प्रकाश मिश्र* पूर्वजों की धरती पर से एक सदी पूर्व विलुप्त हो चुके एक सींग वाले भारतीय गैंडा

Post Top Ad

Your Ad Spot